पिछले सप्ताह में सोने और चांदी के भाव तेज़ रहे क्योंकि रूस और यूक्रेन के बीच चल रही शांति वार्ता में कोई खास प्रगति नहीं हुई। जिसके कारण लगातार अनिश्चिता और मुद्रास्फीति दोनों बढ़ने के कारण निवेशकों की सुरक्षित निवेश की मांग से कीमती धातुओं के भाव तेज़ हो रहे है।
गुरुवार को नाटो प्रमुख और यूरोपियन यूनियन देशो के साथ प्रेसिडेंट जो बाइडेन की बैठक हुई जिसमे रूस पर कुछ अतिरीक्त प्रतिबंद लगाए गए। इसमें रूस द्वारा पश्चिमी प्रतिबंधों को कम करने के लिए किये जा रहे सोने में लेनदेन और कच्चे तेल की आपूर्ति पर निशाना साधा गया है।
कजाकिस्तान की कच्चे तेल पाइप लाइन से इसकी आपूर्ति रुकने के कारण पिछले सप्ताह कीमते तेज़ रही और बढ़ती हुई कच्चे तेल की कीमतों से कीमती धातुओं के भाव को समर्थन मिला है।
हालांकि, अमेरिकी बांड यील्ड 2019 के उच्च स्तरों के पास पहुंच चुकी है और इसमें लगातार चल रही बढ़ोतरी के कारण कीमती धातुओं के भाव में ऊपरी स्तरों पर दबाव भी रहा है। रूस - यूक्रेन युद्ध और एनर्जी कीमतों में बढ़ोतरी आवश्यक वस्तुओ की आपूर्ति को चिंता में डाल रहा है।
यूरोपियन देश रूस से कच्चे तेल का बड़ा हिस्सा आयात करते है प्रतिबंधों के कारण कीमतों में अप्रत्याशित बढ़त को रोकने के लिए अमेरिका, यूरोपियन देश को कच्चे तेल और प्राकृतिक गैस की आपूर्ति बढ़ाएगा।
इस सप्ताह बाजार की नज़र अमेरिकी एडीपी नॉन फार्म एम्प्लॉयमेंट चेंज और पैरोल के आकड़ो पर रहेगी जिससे कीमती धातुओं के भाव को नई दिशा मिल सकती है।
तकनीकी विश्लेषण:
इस सप्ताह भी सोने और चांदी के भाव में तेज़ी जारी रहने की सम्भावना है। जून वायदा सोने में 51500 रुपये पर सपोर्ट और 53000 रुपये पर प्रतिरोध है। मई वायदा चांदी में 67000 रुपये पर सपोर्ट और 71000 रुपये पर प्रतिरोध है।