भू-राजनितिक तनाव बढ़ने के कारण सोने में सुरक्षित मांग बढ़ने लगी है। पिछले सप्ताह घरेलु वायदा सोना तेज़ रहा और भाव 52500 रुपये प्रति दस ग्राम के स्तरों को छू गए जबकि चांदी की कीमते सीमित दायरे में रहते हुए 58800 रुपये प्रति किलो के ऊपरी स्तरों को छू गए। धीमी होती हुई ग्लोबल अर्थव्यवस्था और अमेरिकी डॉलर इंडेक्स मे दबाव सोने और चांदी के भाव को सपोर्ट कर रहा है। डॉलर की नरमी के चलते औद्योगिक धातुओं के लिए पिछले सप्ताह अच्छा रहा लेकिन चीन और यूरोज़ोन के कमजोर मैन्युफैक्चरिंग आकड़ो से सुस्त मांग के संकेतो से सप्ताह के अंत तक इनमे दबाव बनता दिखा। हालांकि, डॉलर की तुलना में रूपया पिछले दो सप्ताह से मजबूत रहा है जिससे कीमती धातुओं की बढ़त सीमित रही। भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा भी शुक्रवार को ब्याज दरे 0.50 प्रतिशत बढ़ा दी गई है जिससे रूपया मजबूत हुआ है। जबकि कॉमेक्स वायदा में सोना 1800 डॉलर प्रति औंस के स्तरों को पार कर गए। दुनिया भर से निराशाजनक आर्थिक संकेतो की बढ़ती संख्या ने आने वाली मंदी पर चिंताओं को बढ़ा दिया है। हालांकि, अमेरिका से जारी होने वाले पैरोल के आंकड़े मजबूत दर्ज किये गए है जिससे ऊपरी स्तरों पर कीमती धातुओं के भाव में दबाव भी बना है। सेफ हैवन मांग बढ़ने के पीछे चीन और ताईवान के बीच बढ़ रहा तनाव है जिसमे मिलिट्री ड्रिलिंग में मिसाइल दागने के बाद सोने में तेज़ी देखने को मिली है।
तकनीकी विश्लेषण:
कीमती धातुओं के भाव इस सप्ताह तेज़ी में रहने की सम्भावना है। अक्टूबर वायदा सोने की कीमतों में 51300 रुपये पर सपोर्ट है और 52500 रुपये पर प्रतिरोध है। सितम्बर वायदा चांदी में 55500 रुपये पर सपोर्ट और 59500 रुपये पर प्रतिरोध है।